नैनीताल, 2 दिसंबर 2025।
जिले में बढ़ते भूमि विवादों, अतिक्रमण और राजस्व संबंधी मामलों के तेज व प्रभावी समाधान हेतु जिलाधिकारी ललित मोहन रयाल ने बड़ा कदम उठाया है। उन्होंने तहसील स्तर पर राजस्व-प्रवर्तन समिति का गठन कर स्थानीय विवादों के त्वरित निस्तारण के निर्देश जारी किए हैं। इस व्यवस्था से अब शिकायतें फाइलों में पेंडिंग रहने के बजाय तत्काल सुनवाई और मौके पर कार्रवाई के दायरे में आएंगी।
जिलाधिकारी ने कहा कि सरकारी जमीनों पर अतिक्रमण, मार्ग व नालों से जुड़े विवाद, सीमांकन, राजस्व अभिलेखों की त्रुटि, तथा सार्वजनिक परिसंपत्तियों से जुड़े विवाद अब प्राथमिकता के आधार पर निपटाए जाएँगे। उन्होंने अधिकारियों को साफ निर्देश दिए कि जनहित के मामलों में अनावश्यक देरी नहीं होनी चाहिए।
समिति में शामिल होंगे अधिकारी
उपजिलाधिकारी — अध्यक्ष
तहसीलदार — सदस्य
थाना प्रभारी/मास-साखा अधिकारी — सदस्य
क्षेत्रीय राजस्व निरीक्षक/कानूनगो — सदस्य
लेखपाल/हल्का पटवारी — सदस्य सचिव
समिति करेगी हर सप्ताह सुनवाई
निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार समिति प्रत्येक सप्ताह राजस्व प्रकरणों की सुनवाई करेगी। साथ ही, आवश्यक होने पर स्थल निरीक्षण, अभिलेख परीक्षण और भौतिक सत्यापन भी अनिवार्य रूप से किया जाएगा।
समिति के प्रमुख दायित्व
विवादित भूमि से जुड़े सभी अभिलेख, नक्शे एवं रिपोर्टों का परीक्षण
अतिक्रमण पाए जाने पर नोटिस एवं कानूनी कार्यवाही
सीमांकन और मेड़ विवादों का अंतिम समाधान
सार्वजनिक संपत्तियों को पूर्व स्थिति में पुनर्स्थापित करना
जिलाधिकारी रयाल ने निर्देश दिए कि समिति के निस्तारित और लंबित सभी प्रकरणों की साप्ताहिक प्रगति रिपोर्ट अपर जिलाधिकारी कार्यालय को प्रेषित की जाए। उन्होंने चेतावनी दी कि आदेशों की अवहेलना पर संबंधित कार्मिकों की जवाबदेही तय की जाएगी।
जिले में यह व्यवस्था लागू होने से ग्रामीणों और प्रभावित व्यक्तियों में उम्मीद जगी है कि अब भूमि विवादों और अतिक्रमण जैसी समस्याओं पर जल्द और प्रभावी समाधान मिलेगा।
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