चिरंजीवी निकेश और आयुष्मती उर्मिला परिणय सूत्र में बंधे, परिवार व समाज ने दी शुभकामनाएँ

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हल्दूचौड़
परमेश्वर एवं कुल-देवताओं की अनुकम्पा से दुर्गापालपुर मोतीराम हल्दूचौड़ निवासी चिरंजीवी निकेश (निक्की) पुत्र श्रीमती हेमा अंडोला एवं श्री चंद्रशेखर अंडोला तथा बमन खोला बाडेछीना निवासी आयुष्मती उर्मिला (उर्मी) पुत्री श्रीमती नीमा भट्ट एवं श्री प्रकाश चन्द्र भट्ट का शुभ वैवाहिक संस्कार पारंपरिक वैदिक विधि-विधान के साथ हर्षोल्लासपूर्वक सम्पन्न हुआ।

इस अवसर पर दोनों परिवारों के शुभचिंतकों, निकट संबंधियों, मित्रों एवं स्थानीय गणमान्य व्यक्तियों ने उपस्थित होकर नवदम्पति को आशीर्वाद प्रदान किया और उनके उज्ज्वल दांपत्य जीवन की मंगलकामनाएँ कीं।

 

सांस्कृतिक उल्लास से सजे विवाह कार्यक्रम

विवाह के मांगलिक कार्यक्रमों की श्रृंखला 21 नवम्बर 2025 से 27 नवम्बर 2025 तक सम्पन्न हुई, जिसमें—

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गणेश पूजन

मेंहदी एवं हल्दी संस्कार

वस्त्र प्रसन्न एवं पाणिग्रहण संस्कार

महिला संगीत एवं वर-वधु स्वागत

जैसे पारंपरिक अनुष्ठानों का आयोजन भक्ति व सांस्कृतिक वातावरण में सम्पन्न हुआ। मंगल गीतों, मांगलिक शब्दों और पारिवारिक अनुराग ने वातावरण को सौहार्द, आनंद और पवित्रता से भर दिया।

परिवार की भावनाएँ

वर-वधु को आशीर्वाद देते हुए परिवारजनों ने कहा—

 “निकेश और उर्मिला का विवाह केवल दो व्यक्तियों का नहीं, बल्कि दो परिवारों, दो मूल्यों और दो परम्पराओं का पवित्र संगम है। ईश्वर से प्रार्थना है कि यह दांपत्य प्रेम, सम्मान, संस्कार और समृद्धि से सदा सुशोभित रहे।”

शुभम् अंडोला व रमेश अंडोला (चाचा) का स्नेह भरा संदेश

“निक्की, तुम हमारे परिवार की आशा, संस्कार और परंपरा की सुंदर कड़ी हो। आज तुम्हारे जीवन में उर्मिला के रूप में सौभाग्य आया है। जब जीवनसाथी मित्र बन जाए, तो जीवन स्वयं उत्सव बन जाता है।
हम कामना करते हैं कि तुम्हारा घर प्रेम, सौहार्द, विश्वास और हंसी की ज्योति से सदा आलोकित रहे।”

श्रीमती नन्दी देवी का मंगल आशीवर्चन

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 “ तुम दोनों बच्चे एक-दूसरे के जीवन का संबल बनो। सुख-दुख में साथ निभाओ।
ईश्वर तुम्हें संतान सुख, समृद्धि, स्वास्थ्य और दिव्य सौभाग्य प्रदान करे। तुम्हारा जीवन हरियाली, शांति और माधुर्य से भरा रहे।”

 

मानसी, दिव्या, भूमिका और पारस का बाल आग्रह

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नन्हें मेहमानों की चंचल आवाजों ने विवाह को और आनंदमय बना दिया।
मानसी, दिव्या, भूमिका और पारस ने मासूमियत से कहा—

“निक्की भैया और उर्मी दीदी हमेशा खुश रहें। हमें खूब प्यार करें और कभी-कभी चॉकलेट देना न भूलें!”

उनकी खिलखिलाहट ने विवाह के वातावरण को और भी मधुर व यादगार बना दिया।

दंपत्ति के लिए मंगलाशिष

दाम्पत्य जीवन सदा सुखमय हो,
प्रेम, श्रद्धा और विश्वास का दीप सदा प्रज्वलित रहे।
वर-वधु को अनंत शुभाशीष और मंगलकामनाएँ।

इस पावन अवसर ने न केवल दोनों परिवारों को अपितु संपूर्ण समाज को परंपरा, संस्कृति और प्रेम के एक अद्भुत उत्सव में जोड़ दिया।

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