श्री राम यज्ञ व भण्ड़ारे में सैकड़ों राम भक्तों ने लिया भाग

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हल्दूचौड़।श्री आर्दश रामलीला कमेटी हल्दूचौड़ के तत्वावधान में आयोजित श्री राम यज्ञ में सैकड़ों राम भक्तो ने भाग लेकर लोक कल्याण के लिए यज्ञ में आहुतियां प्रदान की। श्री राम चन्द्र जी को सर्मर्पित विराट हवन यज्ञ विद्वान आचार्य द्वारा विधिपूर्वक यज्ञ सम्पन कराया इस अवसर पर कमेटी के डायरेक्टर गणेश फुलारा ने सफल आयोजन के लिए सभी का आभार जताया तथा उन्होने यज्ञ के महत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा
यज्ञ करने पर मंत्राचार के द्वारा मानसिक शुद्धि होती है। साथ ही मानसिक और शारीरिक बल तथा सकारात्मक ऊर्जा भी मिलती है। ये सब यज्ञ के धुएँ के साथ शरीर मेँ श्वास और त्वचा से प्रवेश करते हैँ और उसे स्वस्थ बनाते हैँ
श्री फुलारा ने कहा कि यज्ञ का प्रभाव मनुष्य के शरीर पर नहीं ; मन और अन्तश्चेतना पर भी पड़ता है और प्रभु श्री राम को समर्पित यह यज्ञ सभी का मंगल करें
इससे पूर्व श्री राम लीला के विराम दिवस के अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप मे यहाँ पहुंचें जिला पंचायत सदस्य कमलेश चंदोला ने कहा भारत की धर्म व संस्कृति में भगवान श्री राम का व्यक्तित्व परम पूज्यनीय है श्री राम जी का पूरा जीवन आदर्श और संघर्षों से भरा पड़ा है ।राम एक आदर्श पुत्र ही नहीं बल्कि एक आर्दश पति और भाई होने के साथ-साथ एक आदर्श राजा भी रहे मर्यादा की हर सीमा में उनके आदर्श की झलक जीवन की जटिलताओं को सुनहरी राह दिखाती
उन्होंने कहा श्री राम भक्ति का सुगम पथ है। राम ही जीवन के आधार हैं उन्होंने कहा जो प्राणी श्री राम की शरणागत है उसे स्वप्न में भी लेशमात्र दुख नहीं होता वह सतांपों से मुक्त है। पुरुषोत्तम श्री राम के जीवन पर विस्तार से प्रकाश डालते हुए उन्होंने कहा जीवन में मर्यादा व कर्तव्य का स्थान सबसे ऊचाँ है। और इस ऊंचाई का ज्ञान हमें श्री राम की लीला से प्राप्त होता है।
रामलीला कमेटी हल्दूचौड़ के अध्यक्ष रोहित बिष्ट ने श्रीरामलीला के इस वर्ष विराम पड़ाव पर सफल कार्यक्रम के लिए सभी का आभार जताया उन्होनें कहा जहां भावुक भक्तों की दृष्टि में श्री राम की लीला अपरम्पार है।वही हल्दूचौड़ की रामलीला ने प्रभु श्री राम के अनादि स्वरूप का चिन्तन करते हुए गौरवशाली इतिहास समेटा हुआ है। यहां की लीला को नई ऊंचाईया यहां के मेहनतकश कलाकारों ने समय-समय पर प्रदान की। उन्होनें कहा श्री रामलीला की अभिनय परंपरा के प्रतिष्ठापक गोस्वामी तुलसीदास हैं, इन्होंने महान आध्यात्मिक बिरासत का श्री गणेश किया।हिंदी में इनकी प्रेरणा से अयोध्या और काशी के तुलसी घाट पर प्रथम बार रामलीला हुई थी।जो धीरे- धीरे समूचे विश्व की धरोहर बनी इसी धरोहर का सुन्दर स्वरुप इस बार हल्दूचौड़ की रामलीला के मंचन में देखनें को मिल रहा है।
इस वर्ष की लीला के सफल संचालन में खीम सिंह बिष्ट सुमित जोशी हेम चन्द्र दुम्का देवेन्द्र तिवारी विक्रम सिंह पोखरिया राजेन्द्र सिंह अधिकारी सुरेश जोशी महेश जोशी
बन्टी तिवारी जर्नादन पाण्डे देवेश गुणवन्त चन्दा परंगाई गंगा राणा पवन दुम्का गोपाल जोशी सचिन जोशी प्रवीन शर्मा कमल रौतेला दान सिंह पंवार प्रकाश गुरुरानी कमल परवाल रवि मेहता ललित भट्ट भुवन सुयाल गोकुल भट्ट जितेन्द्र मेहरा कोमल पाण्डे सहित सभी पात्रों व श्री राम भक्तों का सहयोग रहा

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